‘हलाल’ के माध्यम से हिन्दुओं का पैसा आतंकवादी कार्यवाहियों के लिए पहुंच रहा है ! – श्री. कपिल मिश्रा, संस्थापक, हिन्दू ईकोसिस्टम
विद्याधिराज सभागृह, २० जून (वार्ता.) – वर्ष २०२२ में श्रीरामनवमी के दिन नई देहली स्थित जहांगीरपुरी में हिन्दओं पर मुसलमानों ने बम एवं गोलियों से आक्रमण कर पथराव किया । यह आक्रमण करनेवाले रद्दीवाले बांग्लादेशी घुसपैठिए थे । इस प्रकरण में पुलिस ने अन्सार नामक मुसलमान को बंदी बनाया । अन्सार का अभियोग लडने के लिए सर्वोच्च न्यायालय के ५ बडे अधिवक्ता खडे हुए । ‘जो अधिवक्ता एक अभियोग की सुनवाई के लिए लाखों रुपए शुल्क लेते हैं, ऐसे अधिवक्ता एक रद्दीवाले मुसलमान का अभियोग लडने हेतु कैसे तैयार हो गए ?,
इसकी जानकारी लेने पर ज्ञात हुआ कि ‘जमियत उलेमा-ए-हिन्द’ इस संस्था की ओर से इन अधिवक्ताओं को पैसा दिया गया था । प्रयागराज में हुए आतंकवादी आक्रमण में ५६ लोग मारे गए । इस प्रकरण में ३० मुसलमानों को दंड मिला । इन सबका अभियोग भी ‘जमियत उलेमा-ए-हिन्द’ द्वारा लडा गया था । इस संस्था के पास यह पैसा हलाल उत्पादनों की खरीद से आ रहा है । ‘केश काटना’, ‘सब्जी खरीदना’ आदि के लिए हिन्दू अन्य धर्मियों को पैसे दे रहे हैं, वह पैसा ‘जमियत उलेमा-ए-हिन्द’ तक पहुंचता है और इसी पैसे का उपयोग आतंकवादियों के अभियोग लडने के लिए किया जाता है । लव जिहाद के आरोपियों को छुडवाने के लिए इन पैसों से अधिवक्ताओं की फौज खडी की जाती है ।
इस प्रकार हिन्दुओंके विरोध में ‘अर्थव्यवस्था’ निर्माण हो गई है तथा राष्ट्र एवं हिन्दू विरोधी शक्तियों का जाल संपूर्ण देश में फैल गया है । इस संकट के विरुद्ध लडने के लिए हिन्दुओं ने जाति भेद भुलाकर एकत्रित आना चाहिए, ऐसा वक्तव्य हिन्दू ईकोसिस्टम के संस्थापक श्री. कपिल मिश्रा ने वैश्विक हिन्दू राष्ट्र महोत्सव के पांचवे दिन के सत्र में किया ।