थायलैंड में चुनावों में सेनाविरोधी पक्षों को लक्षणीय सफलता, तब भी सत्ता सेना के ही हाथ में !


बैंकॉक – थायलैंड मे सार्वजनिक चुनावों में सेना विरोधी ‘फॉरवर्ड पार्टी’ एवं ‘पॉप्युलिस्ट फेयु थाई पार्टी’ राजकीय पक्षों को लक्षणीय सफलता मिली है । चुनावों में इन पक्षों ने वहां की जनता को आश्वासन दिए थे कि सफलता मिलने पर ‘नागरिकों को सेना के शासन से मुक्ति दिलाएंगे’, ‘देश के राजशाही अवमान कानून में परिवर्तन करेंगे’, ‘सार्वजनिक स्थानों पर स्वच्छता रखी जाएगी ’ आदि ।

थायलैंड में राजकीय पक्षों के दो गुट हैं – एक सेना समर्थित और दूसरा सेनाविरोधी ! गत एक दशक से थायलैड में सेना समर्थित सरकार की सत्ता थी । अब वह विरोधी पक्षों के हाथ लगभग चली गई है । यह लगभग स्पष्ट ही है कि थायलैड में ४०० में से ११३ सीटें ‘फॉरवर्ड पार्टी’को और ११२ सीटें ‘पॉप्युलिस्ट फेयु थाई पार्टी’ को मिलनेवाली हैं । चुनावों का अंतिम परिणाम घोषित होने के लिए कुछ सप्ताह लग सकते हैं ।

ऐसा होते हुए भी स‌त्ता सेना के ही हाथ में हैं; कारण नियमानुसार थायलैंड में चुनाव में किसी भी पक्ष की विजय हो, तब भी उस पक्ष को सेना द्वारा नियुक्त किए २५० सदस्यों के प्रतिनिधिमंडल का समर्थन लेना पडता है । प्रतिनिधिमंडल में इन २५० सदस्यों की नियुक्ति सीधे सेना द्वारा ही की जाती है । इसलिए भले ही किसी भी पक्ष की जीत हो, तब भी स‌त्ता सदैव सेना के ही हाथों में रहती है ।