जब से केंद्र में भाजपा की सरकार आई, तब से पुरातत्व विभाग की स्थिति लकवासमान हो गई है
पुरातत्व विभाग के भूतपूर्व अधिकारी के.के. मोहम्मद ने अपनी आत्मकथा में आरोप लगाया है
नई देहली – अयोध्या में रामजन्मभूमि के उत्खनन में बहुमूल्य भूमिका अपनानेवाले भारतीय पुरातत्व विभाग के भूतपूर्व अधिकारी तथा पुरातत्व तज्ञ के.के. मोहम्मद की आत्मकथा रूप में ‘ऐन इंडियन आइएम’ ( मैं भारतीय हूं ) नामक पुस्तक प्रकाशित हुई है । इसमें उन्होंने केंद्र सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा, ‘वर्ष २०१४ में केंद्र में भाजपा सरकार आई, तब से पुरातत्व विभाग की लकवा समान स्थिति हो गई है ।’ भूतपूर्व केंद्रीय मंत्री महेश शर्मा ने इस आलोचना पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि उन्होंने इस पुस्तक को पढा है एवं वे समीक्षा कर रहे हैं । यदि आवश्यक होगा, तो वे इस प्रकरण में कार्यवाही करेंगे ।
'BJP के आते ही ASI हुआ लकवाग्रस्त': पहली बार बाबरी की जगह पर राम मंदिर का दावा करने वाले पुरातत्वविद का आरोप#ASI #ArchaelogicalSurveyofIndia #babrimasjid #RamMandir #KKMuhammedhttps://t.co/FQz60TiqHs
— Amar Ujala (@AmarUjalaNews) December 17, 2022
१. के.के. मोहम्मद ने पुस्तक में कहा है कि भाजपा की सरकार आने पर पुरातत्व विशारदों के लिए आर्थिक प्रावधान २५ लाख रुपए से ३ लाख रुपए कर दिया गया । इसलिए स्मारक तथा मंदिरों की सुरक्षा का कार्य नहीं हो सका । छोटी-छोटी बातों के लिए देहली-मुख्यालय का मुंह देखना पडता है ।
२. के.के. मोहम्मद ने आगे कहा है कि भाजपा सरकार सत्ता में आने पर जनता को संस्कृति के क्षेत्र में परिवर्तन की अपेक्षा थी । कांग्रेस सरकार की कालावधि में मध्यप्रदेश के चंबल क्षेत्र के बटेश्वर में २५ लाख रुपए के आर्थिक प्रावधान का प्रयोग कर वहां के ८० मंदिरों का पुनर्निमाण किया था; परंतु दुःख की बात है कि भाजपा के कार्यकाल में बटेश्वर में एक भी मंदिर का पुनर्निमाण नहीं हो सका है ।