मेरी मृत्यु के उपरांत कुरआन मत पढिए, अपितु उत्सव मनाईए ! – युवक की अंतिम इच्छा

इराण में हिजाबविरोधी आंदोलन में सहभागी युवक को दी गई फांसी !

(हिजाब का अर्थ है मुसलमान महिलाओं द्वारा सिर एवं गर्दन ढंकने के लिए उपयोग किया जानेवाला वस्त्र)

मजीदरोजा रहनवर्ड

तेहरान (इराण) – इराण में हिजाबविरोधी आंदोलन में सहभागी होने के आरोप में २३ वर्षीय युवक मजीदरोजा रहनवर्ड को सार्वजनिकरूप से फांसी दी गई । फांसी से पूर्व का उसका एक वीडियो अब सामाजिक माध्यमों में प्रसारित हो रहा है । इसमें उसकी आंखों पर काली पट्टी बांधी गई है तथा उसकी बाजू में २ सुरक्षाकर्मी दिखाई दे रहे हैं । इस वीडियो में उसने जो इच्छा व्यक्त की है, उसे उइकी अंतिम इच्छा माना जा रहा है । उसमें वह कह रहा है, ‘कोई भी कुरआन न पढें । मेरी मृत्यु के उपरांत कोई दुखी हो; ऐसा मुझे नहीं लगता । आप कोई प्रार्थना भी मत कीजिए । सभी लोग मेरी मृत्यु का उत्सव मनाएं, गाना बजाएं तथा आनंदित रहें ।’

१. बेल्जियम के एक सांसद ने यह वीडियो शेयर किया है । उन्होंने मजीदरोजा की मृत्यु के लिए शरिया कानून को उत्तरदायी माना है । उसने अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाई थी । शरिया कानून के अनुसार अल्लाह के माध्यम से बताए गए कानूनों का उल्लंघन करनेवालों को दंड दिया जाता है ।

२. तेहरान के न्यायालय ने मजीदरोजा को फांसी का दंड सुनाया था । उस पर हिजाबविरोधी आंदोलन के समय दो पुलिस अधिकारियों की हत्या करने का आरोप था ।