कश्मीर में मस्जिद के मौलवी को बंदी बनाया !

भारतीय सेना की गोपनीय जानकारी जिहादी आतंकवादी संगठन को दी !

(मौलवी अर्थात इस्लाम का धार्मिक नेता)

किश्तवाड (जम्मू-कश्मीर) – यहां की एक मस्जिद के २२ वर्षीय मौलवी को पाकिस्तानी आतंकवादी संगठन को गोपनीय जानकारी उपलब्ध कराने के प्रकरण में बंदी बनाया गया है । उसका नाम अब्दुल वाहिद था और वह पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन ‘कश्मीरी जांबाज फोर्स’ को भारतीय सेना की गोपनीय जानकारी उपलब्ध करता था । भारतीय सेना के गुप्तचर विभाग को इसकी जानकारी मिलने के उपरांत उन्होंने पुलिस को इसके विषय में अवगत कराकर इसे बंदी बनाया । वाहिद ने उसका अपराध स्वीकार किया है । वाहिद एक मदरसे में पढाने का काम भी करता है । (वहां के बच्चों को उसने क्या पढाया है, इसकी भी अब जांच करने की आवश्कता है । ऐसी ही घटनाओं के कारण देश के मदरसों को हमेशा के लिए बंद कर देना चाहिए, ऐसा राष्ट्रप्रेमियों को लगता है ! – संपादक) विशेष बात यह है कि किश्तवाड से बडी संख्या में आतंकवादी घुसपैठ करते हैं ।

वाहिद ने जांच में बताया कि, दिसंबर २०२० में वो फेसबुक द्वारा तैयब फारकी उपनाम उमर खताब इस कश्मीरी जांबाज फोर्स के कमांडर के संपर्क में आया था । इसके उपरांत वह पाक की गुप्तचर संस्था आई.एस.आई. से भी जुड गया । उसने अपना संपर्क क्रमांक भी उन्हें दिया था ।

संपादकीय भूमिका 

  • ऐसे देशद्रोही मौलवी के देश का एक भी मुसलमान संगठन, नेता, धार्मिक नेता विरोध नहीं करता अथवा उनका निषेध नहीं करता, यह ध्यान में लें !
  • कश्मीर की समस्या यह केवल एक भूभाग तक ही सीमित नहीं । इसके पीछे जिहाद एक प्रमुख कारण है । जिहाद को बढावा देनेवालों पर जब तक कार्यवाही नहीं की जाती, तब तक कश्मीर का जिहादी आतंकवाद नष्ट होना कठिन है !