कानपुर के एक निजी विद्यालय में हिन्दू छात्रों को इस्लामी ´कलमा´ पढ़ाया जा रहा है !
हिन्दू संगठनों के विरोध के उपरांत आरोप प्रविष्ट !
कानपुर (उत्तर प्रदेश) – ‘फ्लोरेट्स इंटरनेशनल स्कूल’ नामक विद्यालय में हिन्दू छात्रों को ‘कलमा’ (इस्लामी प्रार्थना) पढ़ाए जाने की घटना सामने आई है । इसकी सूचना मिलने के उपरांत छात्रों के अभिभावकों और हिन्दू संगठनों के धरना, प्रदर्शन आरंभ करने के उपरांत पुलिस आयुक्त व प्रशासनिक अधिकारी विद्यालय पहुंचे । पुलिस ने इस घटना के संदर्भ में प्रकरण प्रविष्ट कर लिया है और जिलाधीश ने जांच के आदेश भी दे दिए हैं । विद्यालय के प्रबंधन ने स्पष्ट किया है कि अब आगे से वे ‘कलमा पठन´ करने को नहीं कहेंगे किन्तु हिन्दू संगठनों ने विद्यालय का शुद्धीकरण कर के विद्यालय बंद करने की मांग की है । उन्होंने कहा, ‘जब तक विद्यालय प्रबंधन क्षमायाचना नहीं करता, हम विद्यालय नहीं खुलने देंगे । इस विद्यालय की एक पुस्तक के एक पृष्ठ का चित्र भी प्रसारित किया गया है । पृष्ठ के निचले भाग में इस्लामी ´कलमा´(इस्लामी प्रार्थना) लिखा हुआ है।
WATCH: Kanpur school stirs row for making students recite 'Kalma', parents lodge complaint https://t.co/XvX7eBY9u9
— Republic (@republic) August 1, 2022
१. यहां के नगरसेवक महेंद्र शुक्ला ने विद्यालय पर गंगाजल का प्रोक्षण किया । इसका चलचित्र सामाजिक माध्यमों पर तीव्रगति से प्रसारित हो रहा है । महेंद्र शुक्ल ने कहा कि इस विद्यालय में राष्ट्रगान नहीं गाया जाता किन्तु कलमा पढ़ाया जाता है । इसके जिहादी संगठन ‘पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया’ से संबंध हैं । उसकी हम जांच करेंगे ।
२. विद्यालय प्रबंधक ने कहा कि हमारे विद्यालय में १२-१३ वर्षों से हिन्दू, मुस्लिम, सिख और ईसाई प्रार्थनाएं कही जाती रही हैं । अब तक इनका किसी ने विरोध नहीं किया था किन्तु ४ दिन पूर्व पालकों ने इस पर आक्षेप व्यक्त किया है। तब से हमने इन प्रार्थनाओं को बंद कर दिया है ।
कलमा क्या है?‘ला-इलाह-इलल्लाहु मोहम्मदन रसुलिल्लाहि’ कलमा इस्लाम की एक प्रार्थना है । इसका अर्थ है कि अल्लाह के अतिरिक्त कोई भगवान नहीं है और मोहम्मद उसका प्रेषित है । |
संपादकीय भूमिकायदि भगवद् गीता का कोई श्लोक कभी किसी विद्यालय में मुसलमान या ईसाई छात्रों को पढ़ाया जाए या सुनाने के लिए कहा जाए, तो क्या वे कभी उसका पठन करेंगे ? |