निरंजनी अखाडा द्वारा हरिद्वार के कुंभ मेले के समापन की घोषणा
१७ अप्रैल को कुंभ मेला समाप्त होगा !
हरिद्वार (उत्तराखंड) – यहां के कुंभ मेले में सहभागी हुए निरंजनी अखाडा के सचिव महंत रवींद्र पुरी ने बढते हुए कोरोना के संसर्ग का कारण बताते हुए, कुंभ मेले के समाप्ति की घोषणा की है । उन्होंने कहा कि कुंभ मेला १७ अप्रैल को समाप्त होगा । बाहर से आए सभी संतों एवं महंतों से वापस लौटने का अनुरोध किया गया है । कुंभ मेला १७ अप्रैल तक खाली हो जाएगा ।
१. महंत रविंद्र पुरी के अनुसार, महाकुंभ मेले का पवित्र स्नान २७ अप्रैल को होगा । यह इस महाकुंभ मेले का अंतिम पवित्र स्नान होगा । कोरोना की पृष्ठभूमि में २७ अप्रैल को पवित्र स्नान भी प्रतीकात्मक रूप से किया जाएगा । जिसके साथ महाकुंभ स्नान की शाश्वत परंपरा बनी रहेगी ।
२. यह पता चला है कि, कुंभ मेले के ३० साधुओं को कोरोना का संसर्ग हुआ है । जिन साधुओं की स्थिति गंभीर है, उन्हें ऋषिकेश के एम्स में दाखल किया जा रहा है । यह सूचना मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ एस के झा द्वारा दी गई है ।
As the Covid-19 cases are increasing across the country, Panchayati Niranjani Akhada, one of the 13 akhadas announced the conclusion of the Kumbh on April 17https://t.co/P8G2I0mE3y
— Hindustan Times (@htTweets) April 16, 2021
साधू एवं संतों का विरोधबैरागी अखाडे ने कुंभ मेला समाप्त करने का विरोध किया है । उसी प्रकार, द्वारका एवं ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य, स्वरूपानंद सरस्वती महाराज के शिष्य, अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने भी विरोध दर्शाया है । उन्होंने कहा है कि, ‘कुंभ पंचांग के अनुसार होता है । इसे आयोजित अथवा निरस्त करने का अधिकार किसी भी व्यक्ति अथवा संगठन को नहीं है ।’ |