Bareilly Dispute Over Illegal Mosque : बरेली (उत्तरप्रदेश) में अवैध मस्जिद की एक दीवार हिंदुओं ने तोडी !
पुलिस ने दीवार का पुनर्निर्माण कर दिया !
बरेली (उत्तरप्रदेश) – यहां के दांडी गांव में अवैध रूप से मस्जिद का निर्माण कार्य हाेने के कारण हिंदुओं ने उसका विरोध आरंभ किया है । हिंदुओं ने इस मस्जिद की एक दीावार तोडने से यहां बहुत बडा तनाव निर्माण हुआ है तथा भारी मात्रा में पुलिस व्यवस्था नियुक्त की गई है । विशेष यह कि तोडी गई दीवार का पुलिस ने पुनर्निर्माण किया है ।
Hindus demolish a wall of an illegal M@$j!d in Bareilly (Uttar Pradesh); The police rebuilt the wall.
👉It is unthinkable that in the U.P., where the BJP is in power, the police would rebuild the wall of an illegally constructed M@$j!d.
This is the last thing Hindus expect.… pic.twitter.com/jEHDsy9fxu
— Sanatan Prabhat (@SanatanPrabhat) September 28, 2024
१. इस अवैध निर्माण के विषय में ३ महिने पूर्व हिंदुओं ने प्रशासन को परिवाद किया था । उस समय प्रशासन ने पुलिस कर्मियों की उपस्थिति में निर्माण कार्य काे बंद कर दिया था; परंतु इसके पश्चात भी निर्माणकार्य संपूर्ण रूप से तोडा न जाने के कारण हिंदुओं में क्रोध बढने लगा ।
२. २७ सितंबर को हिंदुओं ने अवैध मस्जिद की दीवार का एक भाग तोडा । इस घटना के पश्चात पुलिस ने तत्काल घटनास्थल पर पहुंच कर अपनी देखरेख में पुन: दीवार का निर्माण कार्य किया । इस समय हिंसाचार भी हुआ । इस प्रकरण में पुलिस ने कुछ हिंदुओं को बंदी भी बनाया ।
३. इस बंदी के कारण हिंदू संतप्त हुए तथा उन्होंने भाजप के विधेयक सांसद डॉ. आर्य के नेतृत्व में प्रदर्शन आरंभ किए । इस समय बंदी बनाए गए युवकों की बिना शती के मुक्तता कर अवैध निर्माणकार्य पूर्ण रूप से बंद करने की मांग की गई ।
४. पुलिस के दीवार पुनर्निर्माण कऱने से पुलिस की भूमिका के विषय में प्रश्नचिन्ह उपस्थित हुए हैं; क्योंकि हिंदुओं ने आरोप लगाया है कि पुलिस मुसलमान के पक्ष में काम कर रही हैं तथा अवैध निर्माणकार्य काे प्रोत्साहित कर रही है ।
५. पुलिस अधीक्षक मुकेश चंद्र मिश्रा ने कहा कि प्रशासन ने इससे पूर्व भी मस्जिद का अवैध निर्माणकार्य रोकने हेतु कदम उठाए थे । दंडाधिकारी केआदेश के अनुसार निर्माणकार्य पहले ही रोका गया था।’ हिंदुओं का आरोप है कि वहां नमाजपठन किया जा रहा था तथा निर्माणकार्य चुपचाप पुन: आरंभ किया गया ।
संपादकीय भूमिका
|